कर्मचारी जान जोखिम में डालकर कार्य करने मजबूर
DNB गरियाबंद। गरियाबंद जिला मुख्यालय स्थित जल संसाधन संभाग कार्यालय में बुधवार को कार्यपालन अभियंता के कार्यालय की जर्जर हो चुकी छत एवं सीलिंग अचानक गिरने से विभागीय कर्मचारियों में अफरा-तफरी मच गई। हालांकि इस घटना में कोई कर्मचारी हताहत नहीं हुए हैं। लेकिन अधिकारी-कर्मचारियों में घटना को लेकर दहशत का माहौल है।
उल्लेखनीय है कि गरियाबंद का जल संसाधन संभाग का कार्यालय लगभग 45 साल पुराना है। जो कि वर्तमान में भवन जगह-जगह से जर्जर हो चुकी है। विभाग में कार्यरत अधिकारी-कर्मचारी जान-जोखिम में डालकर कार्य करने मजबूर हैं। बताया जाता है कि इसके पूर्व भी इस तरह की घटना घटित हो चुकी है। जल संसाधन संभाग कार्यालय का भवन काफी जर्जर स्थिति में है। इस कार्यालय में कार्यपालन अभियंता का भी दफ्तर है। इसके साथ ही विभाग की अलग-अलग शाखाएं संचालित होती है। जहां विभागीय कामकाज के निष्पादन में अधिकारी-कर्मचारी कार्य करते हैं। बताया गया कि जल संसाधन विभाग का यह कार्यालय काफी वर्षों पुराना है। जो कि वर्तमान में जगह-जगह से जर्जर हो गई है। कर्मचारी डरें-सहमें कार्य कर रहे हैं।
विभागीय सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक जल संसाधन विभाग के जर्जर भवन की मरम्मत के लिए उच्चाधिकारियों से मांग की गई है। प्राक्कलन तैयार कर भेज दिए गए हैं, लेकिन अब तक स्वीकृति नहीं मिली है। बताया गया कि दो माह पूर्व भी कार्यालय के एक कमरा का छत और सीलिंग अचानक भर-भराकर गिर गया था, उस दौरान भी कर्मचारी बाल-बाल बच गए थे। जिसके बाद एक बार फिर बुधवार को कार्यालय के दूसरे कमरे का छत गिरा है। कार्यालय के जर्जर भवन में लगातार इस तरह की घटना की पुनरावृत्ति हो रही है, जिससे कि कभी भी बड़ी दुर्घटना हो सकती है। वहीं कार्यालय में जहां से रोजाना अधिकारी-कर्मचारियों का आना-जाना है, उस जगह के छत का प्लास्टर भी लगातार गिर रहा है। स्थिति यह है कि प्लास्टर गिरने से सरिया बाहर दिखाई दे रहे हैं। कर्मचारियों का कहना है कि इस छत के नीचे बैठकर काम करना हमारी मजबूरी है। इसके बावजूद अब तक इस ओर ध्यान नहीं दिया जा रहा है।